Chapter 94

Chapter 94

YHAGK 93

Chapter

93








   रूद्र ने शरण्या को उसके घर पर छोड़ा और वहां से सीधे हॉस्पिटल के लिए निकल गया। लावण्या की डॉक्टर उन दोनों परिवारों की फैमिली डॉक्टर ही थी। रुद्र को उनसे मिलने में कोई परेशानी नहीं हुई। वह सीधे डॉक्टर के केबिन में गया। डॉक्टर ने जब रूद्र को देखा तब उससे रेहान समझ कर जन्मदिन की बधाई के साथ साथ बाप बनने की बधाई भी दे दी। रूद्र बोला, "थैंक्यू! थैंक्यू!! जन्मदिन तो मेरा आज है लेकिन बाप बनने में अभी काफी टाइम है डॉक्टर। मैं रेहान नहीं हूं मैं तो बस अपनी भाभी के रिपोर्टस् लेने आया हूं और यह जानने आया हूं कि सब कुछ ठीक तो है ना? आने वाला मेहमान मेरी तरह फिट है या अपने बाप की तरह मरियल?"


    डॉक्टर हंसते हुए बोली, "बेबी बिल्कुल तुम्हारी तरह है, एकदम फिट एंड फाइन। लेकिन एक खास बात! ऐसे समय में माँ की बॉडी में काफी सारे चेंजेज होते हैं और यह सब नॉर्मल है। इस समय में कुछ लड़कियां हाइपर हो जाती है। तुम लोग सभी को मिलकर लावण्या का खास ख्याल रखना होगा। देखना कि उसे किसी तरह का मेंटल स्ट्रेस ना होने पाए वरना उसकी प्रेगनेंसी में कॉम्प्लिकेशन आ सकती है। खास तौर पर डिलीवरी के समय। इस समय वह ज्यादा से ज्यादा खुश रहे वही बेहतर होगा उसके लिए और बेबी के लिए भी। लावण्या के साथ जैसा भी होगा उसका सीधा असर बच्चे पर ही पड़ेगा। तुम समझ रहे हो ना मेरी बात?"


    रूद्र मुस्कुराते हुए बोला, "डोंट वरी डॉक्टर! लावण्या के चेहरे पर जो मुस्कुराहट है वह कभी कम नहीं होगी। हम सब मिलकर उसका ख्याल रखेंगे।" कहकर रूद्र ने सामने रखी फाइल उठाई और घर के लिए निकल गया। 




      रूद्र अभी हॉस्पिटल में ही था जब उसे लावण्या का कॉल आया। उसने लावण्या को बताया की फाइल उसने कलेक्ट कर ली है और कुछ देर बाद ही वह घर लौट रहा है। फिर अचानक से उसने रेहान के बारे में पूछ लिया। लावण्या बोली, "रेहान तो इस वक्त मीटिंग में है। कुछ फाइनेंसियल डिपार्टमेंट में मीटिंग थी। वहां से निकलने में उसे तकरीबन एक घंटा और लगेगा। मैं अभी घर के लिए निकल रही हूं। मां पापा को भी तो यह बात बतानी है और आज शाम के पार्टी के लिए उन सबको इनवाइट भी तो करना है। आखिर आज तुम दोनों का ही पहला बर्थडे है। इससे पहले तो तुम लोग सिंगल ही थे।" लावण्या हंसी और फोन रख दिया। 


     रूद्र ने फोन पॉकेट में डाला और खुद से बोला, "सही कहा तुमने। इस साल बहुत कुछ बदल गया है। अभी तक मैंने अपने भाई को जन्मदिन की बधाई नहीं थी। देना पड़ेगा!" रूद्र के चेहरे पर गंभीर एक्सप्रेशन थे। वह वहां से सीधे ऑफिस के लिए निकला जहां रेहान अभी मीटिंग में ही था। रूद्र ने रिसेप्शन पर पता किया और सीधे बिना किसी को कुछ कहें वह मीटिंग रूम में घुस गया। 


     रेहान ने अचानक से उसे देखा तो चौक गया। फिर बोला, "रूद्र! तु कुछ तेरा इंतजार करेगा? बस थोड़ी देर! मुझे मीटिंग...........!" 


     इससे पहले कि रेहान अपनी बात पूरी कर पाता, रूद्र ने सख्त आवास में कहा आउट......! एवरीबडी आउट........! बाकी की मीटिंग कल कर लेना आप लोग। पहले मैं बर्थडे बॉय को विश तो कर दु!"


    यह सुनते ही वहां मौजूद सभी एंप्लॉय ने अपना सामान समेटा और वहां से एक एक कर निकल गए। रेहान को यह सब बहुत अजीब लग रहा था। उसे गुस्सा आया और रूद्र से पूछा, "क्या है यह सब रूद्र? ये ऑफिस है! यहां काम होता है! जब चाहे तब मीटिंग इस तरह बीच में बंद नहीं किया जाता। अपनी हरकतें और अपने आर्डर अपनी आर्ट गैलरी तक ही रखना।"


     रूद्र जो अब तक शांत खड़ा था उसने एक झन्नाटेदार थप्पड़ रेहान के गाल पर मारा। रेहान का सर घूम गया और आंखों के सामने अंधेरा छा गया। रूद्र ने अपनी पूरी ताकत लगाकर उसे मारा था। उसे समझ नहीं आया आखिर रूद्र को हुआ क्या है जो उसने जिंदगी में पहली बार ऐसी कोई हरकत की है। वरना तो अब तक हर बार रेहान ही रूद्र पर अपना गुस्सा जाहिर करता आया था। यह पहली बार था जब उसने रूद्र को गुस्से में देखा था लेकिन इसकी वजह क्या थी? 


      रेहान ने सवाल किया तो रूद्र ने अपने साथ लाए उस मेडिकल फाइल को रेहान के सामने टेबल पर पटक दिया। रेहान ने वो फाइल उठाई। उसे लगा लावण्या की प्रेगनेंसी रिपोर्ट है! उसने पूछा, "क्या है इस रिपोर्ट में जो तू इतने गुस्से में है? क्या हुआ है लावण्या को और क्या किया है मैंने?"


      रूद्र उसके करीब आया और बोला, "एक बार इस फाइल को ठीक से पढ़! तुझे खुद समझ में आ जाएगा कि तूने क्या किया है!"


     रेहान ने एक दो बार उलट पलट कर उस फाइल को देखा और हर एक पन्ने को चेक किया। उसे कहीं से भी कोई गड़बड़ी नजर नहीं आ रही थी, सिवाय एक जगह के। जहां नजर पड़ते ही रेहान के पैरों तले जमीन खिसक गई। वह फाइल प्रेगनेंसी रिपोर्ट की थी और वह बच्चा भी रेहान का ही था लेकिन उस फाइल में लावण्या की जगह इशिता का नाम था। रेहान की आवाज उसके गले में अटक कर रह गई। उसे समझते देर न लगी कि रूद्र को सारी सच्चाई का पता चल चुका है, जिसे वह अब तक छुपाते आ रहा था। वह राज रूद्र के सामने खुल चुका है। 


    रेहान ने फिर भी हिम्मत जुटाकर कुछ कहना चाहा लेकिन रूद्र ने एक बार फिर उसे मारते हुए जमीन पर गिरा दिया और बोला, "झूठ मत बोलना! मेरे सामने अगर सच बोलना हो तभी अपनी मुंह खोलना वरना मुझसे बुरा कोई नहीं होगा!!! तूने भी वही किया ना जो ललित अंकल ने किया! लावण्या के साथ भी वही हुआ जो अनन्या आंटी के साथ हुआ था! तुझे एहसास भी है तूने किया क्या है? इतना बड़ा कांड करने के बावजूद, किसी की लाइफ बर्बाद करने के बावजूद तु लावण्या के साथ इतना खुश कैसे रह लेता है? तुझे अंदर ही अंदर तकलीफ नहीं होती है क्या? एक गिल्ट नहीं होता तुझे कि तू लावण्या को, जिस लड़की से तूने शादी की, जिससे तू इतना प्यार करता है उसे इतना बड़ा धोखा दिया है! तुझे ऐहसास भी है, यह बात अगर लावण्या के सामने खुल गई तो क्या होगा? अनन्या आंटी ने तो शरण्या को एक्सेप्ट कर लिया था लेकिन क्या लावण्या भी ऐसा कर पाएगी? क्या ऐसा जरूरी है कि जो मां के साथ हुआ वही बेटी के साथ भी हो?"


   रेहान ने खुद का बचाव करना चाहा। "देख रुद्र! तुझे कोई गलतफहमी.......!" रूद्र ने उसकी बात पूरी ना होने दी और उसकी गर्दन पकड़ते हुए कहा, "गलतफहमी का तो नाम भी मत लेना तु! सारे सबूत देख कर आ रहा हूं मैं! तूने उस लड़की को फसाया, वह भी मेरे नाम से? कर कैसे सकता है तू? तुझे एहसास भी है तेरी इस हरकत से कितनों की जिंदगी तबाह हुई है और हो सकती है?"


    "देख रूद्र! जो भी हुआ वह सिर्फ एक गलती थी। मैं तो उसे जानता तक नहीं। उस वक्त हालात ही कुछ ऐसे बन गए थे कि मैं.........."


       रेहान की इस बात पर रूद्र उस पर चिल्लाया, "तेरी कोई गलती नहीं है! सही कहा तूने, सारी गलती उसकी है जिसने तुझ पर भरोसा किया और तूने.......! तूने उसका फायदा उठाया! झूठ बोलकर! तु सीधे सीधे बोल सकता था कि तू रेहान है रूद्र नहीं लेकिन नहीं.....! तुझे उसका फायदा उठाना था। इतनी बड़ी बात छुपाई तूने सबसे। कब बताने वाला था तू? लावण्या को इस बारे में बताने वाला था या जिस तरह उसके बाप ने किया उसी तरह तु उस बच्चे को सीधे घर लेकर आने वाला था?" 


      मैंने कहा था अबॉर्शन के लिए! लेकिन वो नहीं मानी तो इसमें मेरी क्या गलती?"


      इस बात पर रूद्र ने एक थप्पड़ और उसे जड़ दिया और बोला, "क्या तू यही बात लावण्या से कह सकता है? वह दोनों ही तेरे बच्चे की मां है। जो बात तु लावण्या से नहीं कर सकता तो इशिता से कैसे कह सकता है? अपने बच्चे की जान लेने की बात तू सोच भी कैसे सकता है?"


     इस बार रेहान चिल्लाया, "कर सकता हूं मैं!!! मेरा बच्चा है मैं फैसला कर सकता हूं कौन इस दुनिया में आएगा कौन इस दुनिया में नहीं। यह तय करने का हक मुझे है। उस लड़की को मैंने बोला था, पैसे भी दिए थे मैंने उसे! पूरे 20 लाख उसे दिए थे अपना मुंह बंद करने के लिए और यहां से कहीं दूर जाने के लिए। देख रूद्र! मैं लावण्या से बहुत प्यार करता हूं। तूने अगर ऐसी वैसी कोई भी हरकत करी या फिर किसी भी वजह से लावण्या तक यह बात पहुंची! अगर वह मुझे छोड़ कर गई तो मैं अपनी जान दे दूंगा। अब तू सोच ले तेरे लिए कौन ज्यादा मायने रखता है, वह बच्चा जो इस दुनिया में आया भी नहीं है या फिर मैं जो तेरे साथ पिछले 26 सालों से हूं। वैसे भी तूने तो लावण्या से वादा किया था ना कि तू उसकी खुशियों का ख्याल रखेगा? और तू ही उसे यह सारा सच बता कर उसकी सारी खुशियां छीनना चाहता है?"


      रूद्र को एकदम से ख्याल आया कि डॉक्टर ने लावण्या को लेकर क्या कहा था! इस वक्त ऐसे हालात में अगर लावण्या को जरा सी भनक भी लग गई तो होने वाले बच्चे को नुकसान हो सकता है। रूद्र खुद को लाचार महसूस करने लगा। उसने रेहान से पूछा, "क्या करने वाला है तु उस बच्चे के साथ?"


      रेहान अपने कपड़े ठीक करते हुए बोला, "वह मेरा बच्चा नहीं है! वह सिर्फ मेरी एक गलती है और उसे गलती को मैं जिंदगी भर अपने सर पर रख कर ढोने वालों में से नहीं हूं। वो बच्चा इस दुनिया में आए या ना आए, जिए या मरे मुझे फर्क नहीं पड़ता। ये बात उसकी मां को सोचना चाहिए था। मेरे बच्चे की मां तो सिर्फ और सिर्फ लावण्या है कोई और नहीं। मैं किसी और के बच्चे को अपना नाम नहीं देने वाला इस बात के लिए तु मुझे कभी फोर्स नहीं कर सकता।* 


   रूद्र को समझ नहीं आया कि उसे आगे क्या करना चाहिए? उससे कुछ कहते नहीं बना। एक ओर तो घर में इतनी बड़ी खुशी आने को थी वहीं दूसरी तरफ उसी घर का एक बच्चा उस घर से बाहर इस दुनिया में आने वाला था। आखिर रेहान इतना बेरहम कैसे हो सकता है? एक बाप होकर भी अपने दो बच्चों में इतना भेदभाव वह कैसे कर सकता है? जब वह लावण्या से प्यार करता है तो फिर किसी और के साथ रिश्ता कैसे जोड़ सकता है वह? 


     रूद्र को अचानक से ध्यान आया। उसने पूछा, "यह सब तेरे और लावण्या की सगाई के बाद हुआ ना? तूने लावण्या को फॉर्स किया शादी से पहले रिलेशनशिप के लिए और जब उसने इंकार कर दिया तब तुने इशिता को.......... है ना?"


     रेहान बेपरवाही से बोला अगर वह मान गई होती तो यह सब कुछ होता ही नहीं। अगर वह मुझे छोड़कर नहीं जाती तो कभी इशिता मेरे करीब नहीं आती। जो हुआ उसमें आधी गलती लावण्या की भी है। अगर तुझे तेरे सवालों के जवाब मिल गए हो और तुझे तसल्ली हो गई हो तो तू जा सकता है। मुझे यहां बहुत से काम है। रूद्र ने तो सुना उसने अपनी दोनों मुठिया बस कर बांध ली और जाने को हुना लेकिन एक कदम आगे जाकर उसने पलटी मारी और रेहान को एक थप्पड़ और जड़ दिया। रिहान के कान सुन्न पड़ गए।